हरियाणा (एकता): मोबाइल फोन की दुनिया में iPhone (Apple) एक ऐसा ब्रांड है कि जब भी कोई नया फोन या Smartwatch बाजार में आती है तो हर कोई उसे खरीदने के बारे में सोचता है। दुनिया में कई इलेक्ट्रॉनिक चीजें हैं, जिनसे हमें कई तरह के फायदे मिलते हैं। अगर हम स्मार्टफोन की बात करें तो ज्यादातर लोग Apple के iPhone या Apple Watch खरीदना पसंद करते हैं। लेकिन कई अफवाहें उड़ रही है कि इस बार Apple ऐसी स्मार्टवॉच लेकर आया है जिसे देखकर हर कोई हैरान है। मीडिया सूत्रों के अनुसार अब आईफोन कंपनी की Apple Smartwatch पहले से ही कई हेल्थ फीचर्स के साथ आई है, जिसमें हार्ट रेट मॉनिटरिंग, स्ट्रेस मॉनिटरिंग और बहुत कुछ चीजें शामिल है। जो हमारे शरीर को ठीक रखेगी। कुछ साल पहले कंपनी ने एपल वॉच के कुछ चुनिंदा मॉडल में ECG फीचर जोड़ा था। अब अपकमिंग एपल वॉच में ब्लड ग्लूकोज मॉनिटरिंग स्पोर्ट दिया जा सकता है। एपल इतनी तेजी से तरक्की कर रहा है, जिसे कोई भी नहीं सोच सकता। न खून निकलेगा, न दर्द होगा.. इस तरह शुगर लेवल बताएगी एपल वॉच, क्या ऐसी कोई टेक्नोलॉजी बन चुकी है?
जानिए क्या है एपल वॉच का अपकमिंग फीचर
एपल वॉच ब्लड ग्लूकोज मॉनिटरिंग सपोर्ट के साथ हम शुगर और नॉन-शुगर रोगियों की त्वचा पर चुभन के बिना कई चीजें कर सकते हैं। हम उनके ब्लड ग्लूकोज लेवल का टेस्ट करने में काबिल होंगे। कई लोगों को मन में सवाल भी आएगा कि बिना खून के टेस्ट होगा कैसे? तो इसके लिए एपल एक सिलिकॉन फोटोनिक्स चिप डेवलप कर रही है, जो ऑप्टिकल अब्सोर्पशन स्पेक्ट्रोस्कोपी और लेजर लाइट का इस्तेमाल करेगी। इससे क्या होगा कि ये हमारे शरीर में ग्लूकोज की कंसंट्रेशन का पता लगाने में मदद करेगी। हालांकि अभी इस टेक्नोलॉजी पर काम चल रहा है।
क्या एपल ने किया कन्फर्म?
बता दें कि एपल ने अपनी फ्यूचर वॉच में ब्लड ग्लूकोज मॉनिटर के आने की आधिकारिक तौर पर पुष्टि तो नहीं की है, लेकिन कई लीक्ससे पता चला है कि कंपनी इस प्रोजेक्ट पर कई सालों से काम कर रही है। मीडिया सूत्रों के अनुसार इस प्रोजेक्ट पर काम 2010 में शुरू हुआ था, जब एपल ने ब्लड ग्लूकोज मॉनिटरिंग स्टार्टअप रेयरलाइट को अपने नाम किया था। वह ऐसे ही कई फीचर्स तैयार कर रही है। वह ऐसा फीचर्स कभी तैयार नहीं करेगी जिससे लोगों की बॉडी को नुकसान पहुंचाए। लेकिन अभी तक हमने ऐसी कोई टेक्नोलॉजी नहीं देखी जो बिना स्किन पर चुभे या बिना खून के यह बता सके कि किसी व्यक्ति की बॉडी में कितना ग्लूकोज या शुगर रेट है। ऐसी टेक्नोलॉजी डेवलप करने में एपल को थोड़ा समय लग सकता है।